
जदयू के मुख्य प्रवक्ता नीरज कुमार, प्रदेश प्रवक्ता अंजुम आरा और प्रदेश प्रवक्ता अनुप्रिया ने अपने संवाददाता सम्मेलन में एक साथ मिलकर कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लाल किले से दिए गए भाषण में झूठ है। उन्होंने उन्हीं भाषण के दौरान दस झूठों की व्याख्या की और उनसे दस महत्वपूर्ण सवाल पूछे।
जदयू प्रवक्ताओं ने प्रधानमंत्री से पूछा कि क्या वे जनसंख्या को उपलब्धि बताते समय यह भी सोचते हैं कि उनकी पार्टी के नेता जनसंख्या नियंत्रण के मुद्दे पर क्यों बयान नहीं देते हैं, जो समाज में तनाव बढ़ा रहे हैं? उन्होंने यह भी पूछा कि प्रधानमंत्री ने यूरिया के दाम कम करने का दावा किया है, लेकिन यूरिया की बोरी का वजन कम क्यों किया गया? उन्होंने प्रधानमंत्री से यह भी सवाल किया कि उनके द्वारा दिए गए दावे के बावजूद ये कैसे संभव हो सकता है कि यूरिया सस्ते हो जाएं? जदयू प्रवक्ताओं ने उदाहरणों के साथ बताया कि देश की विभिन्न आंकड़ों में रैंकिंग क्यों कम है, जैसे प्रेस फ्रीडम रैंकिंग, इकॉनोमिस्ट यूनिट डेमोक्रेसी इंडेक्स, सिविल लिबर्टी, ग्लोबल हंगर इडेक्स आदि।
जदयू के प्रवक्तागण ने प्रधानमंत्री से यह प्रश्न पूछा कि क्यों वे स्वयं सहायता ग्रुप मामले में बिहार की सफलता की चर्चा नहीं करते, जिसमें बिहार ने पांचवें राज्य की स्थान प्राप्त की है। पांचवें प्रश्न में उन्होंने प्रधानमंत्री से पूछा कि अगर उनका दावा है कि 13.5 करोड़ लोग गरीबी रेखा से ऊपर पहुंच गए हैं, तो क्या 80 करोड़ मुफ्त अनाज पाने वाले गरीबों की संख्या में कटौती क्यों नहीं हुई? प्रधानमंत्री ने अपने भाषण में मुगल शासक शाहजहां के काल को “गुलामी का कालखंड” कहा, जिस पर जदयू प्रवक्ताओं ने टिप्पणी की।
जदयू प्रवक्ताओं ने प्रधानमंत्री से यह प्रश्न पूछा कि उन्होंने लाल किले से भाषण देते समय परहेज क्यों नहीं किया? क्योंकि यह भारतीय इतिहास में महत्वपूर्ण स्थान है। साथ ही, सबसे अधिक युवा आबादी वाले राज्य बिहार की चर्चा प्रधानमंत्री ने क्यों नहीं की? प्रधानमंत्री ने अपने भाषण में मणिपुर को छोड़कर दूसरे किसी राज्य की चर्चा क्यों नहीं की? उन्होंने अपने भाषण में जल जीवन हरियाली योजना का उल्लेख किया, लेकिन बिहार के साथ क्यों नहीं किया? जदयू प्रवक्ताओं ने पूछा कि आजकल मोबाइल रखने के लिए कम से कम दो सौ रुपए का रिचार्ज करना पड़ता है, ऐसे में प्रधानमंत्री बताएं कि मोबाइल कैसे सस्ता हो गया?